- January 14, 2025
तिजोरी में रखा सोना पूंजी बन करती रहे कमाई, वित्त मंत्री बजट में कर सकती हैं ऐसे उपाय!
Budget 2025: घरों में पीढ़ियों के रखे गहने, सोने के सिक्के और बर्तन इज्जत की वस्तुएं मानी जाती है. जिन्हें लोग लॉकर में रखकर किराया चुकाते हैं, लेकिन बेचना नहीं चाहते हैं. इन्हें मजबूरी में ही बेचा जाता है. घरों में रखे इन गोल्ड में देश काफी रुपया जमा है. इन्हें फ्रोजेन सेविंग्स कहा जाता है. यानी इनसे कोई आमदनी नहीं होती है. अब देश के विकास के लिए जरूरी पूंजी और इसके लिए निवेश की जरूरत को देखते हुए इन्हें यूटिलाइज करने की बहस चल प़ड़ी है. इसे लेकर 2025 के बजट में कुछ ऐसे प्रावधान करने की मांग चल पड़ी है, जिससे सोना घर में रहने पर भी पूंजी की तरह इस्तेमाल हो.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मांग, ये रहेगा सोने पर सुहागा
कोटक महिंद्रा म्यूचुअल फंड के एमडी नीलेश शाह ने आगामी बजट में कुछ ऐसा क्रियेटिव करने की मांग की है, ताकि घरों में रखे सोने से भी फंड जुटाकर भविष्य के निवेश के लिए तैयारी की जा सके. नीलेश शाह का विश्वास है कि इससे देश में घरेलू पूंजी का एक बड़ा हिस्सा इकट्ठा हो सकेगा और वह इस बजट के लिए भी सोने पर सुहागा साबित होगा. नीलेश शाह की मांग ऐसे समय आई है, जब आगामी बजट की तैयारी अंतिम चरण में है और अलग-अलग सेक्टर के लोगों से सुझाव लेकर बजट में जोड़ने की कोशिश की जा रही है. नीलेश शाह ने कहा है कि ग्लोबल इकोनॉमी ग्लोबलाइजेशन से प्रोटेक्शनिज्म की ओर बढ़ रही है. पॉलिसी मेकिंग मे टैरिफ सेंट्रल रोल प्ले कर रहा है. आगामी बजट में टैक्स कटौती के जरिए शहरी इलाकों में घरेलू खपत को बढ़ावा देने की प्राथमिकता तय करनी चाहिए.
लोअर और मिड्ल क्लास पर ईएमआई का बोझ कम हो
नीलेश शाह ने देश के लोअर और मिड्ल क्लास पर से भी ईएमआई का बोझ कम करने की मांग की है. वहीं प्राइवेट इन्वेस्टमेंट के लिए इंसेटिव देने का भी आग्रह किया है. इसके साथ ही सरकार की आर्थिक जरूरतों को पूरा करने के लिए कोर सेक्टर से बाहर की कंपनियों के डिसइन्वेस्टमेंट के जरिए पूंजी जुटाने की वकालत की है.
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