- June 6, 2024
लोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद चीन ने उगला जहर, कहा, अब मोदी कमजोर हो गए, ताइवान आया भारत के साथ
Global Times On Pm Modi : लोकसभा चुनावों पर भारत ही नहीं, दुनियाभर के देश नजर बनाए हुए थे. इस बार बीजेपी को केवल 240 सीटें मिली हैं, जिसकी वजह से दुनियाभर में इसकी चर्चा भी हो रही है. हालांकि, एनडीए गठबंधन को पूर्ण बहुमत है, नरेंद्र मोदी भी पीएम बनने वाले हैं, लेकिन चीन अब मजाक उड़ा रहा है. चीनी अखबार ग्लोबल टाइम्स के पत्रकार ने कहा है कि मोदी कमजोर हो रहे हैं. अब आने वाले समय में पश्चिम के साथ भारत का तनाव बढ़ेगा.
ग्लोबल टाइम्स ने एक्स पर इसका एक वीडियो भी शेयर किया. इसमें पत्रकार हू जिजिन ने कहा कि नरेंद्र मोदी ने तीसरी बार जीत हासिल की है, लेकिन यह एक तरह से हार है. उनकी पार्टी पूर्ण बहुमत पाने में सफल नहीं हुई है, हालांकि उनके गठबंधन ने पूर्ण बहुमत पाया है. मोदी को सरकार चलाने के लिए छोटे दलों पर निर्भर रहना होगा. उन्होंने कहा कि मोदी का प्रभाव भारत में है, जिसके कारण अमेरिका उन पर भरोसा करता था. एक बार जब मोदी कमजोर होंगे तो अमेरिका आकलन कर सकता है. यह चुनाव मोदी के लिए मजबूत से कमजोर बनने का निर्णायक मोड़ है. हालांकि, चीनी पत्रकार के इस विश्लेषण को पूर्व राजनयिक कंवल सिब्बल ने मूर्खतापूर्ण बताया.
राजनयिक ने बताया मूर्खतापूर्ण
पत्रकार ने आगे कहा कि भारत ने पश्चिम के साथ मजबूत संबंध दिखाया है. जो मेल नहीं खाती है. अब पश्चिम के साथ संघर्ष बढ़ने की संभावना है. चीनी पत्रकार को पूर्व राजनयिक कंवल सिब्बल ने जवाब दिया. उन्होंने कहा कि यह मूर्खतापूर्ण विश्लेषण.इससे पता चलता है कि भारत और अमेरिका के संबंधों की मजबूती को लेकर चीन घबराया हुआ है. चीन के मजबूत होते ही अमेरिका ने चीन को अपना प्रमुख शत्रु घोषित कर दिया है. तर्क बिल्कुल विपरीत हैं.
ताइवान आया मोदी के साथ
वहीं, चुनाव जीतने के बाद नरेंद्र मोदी को ताइवान के राष्ट्रपति लाई चिंग ते ने बधाई दी. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी को चुनावी जीत पर मेरी ओर से हार्दिक बधाई. हम तेजी से बढ़ी ताइवान-भारत साझेदारी को बढ़ाने, इंडोपैसिफिक में शांति और समृद्धि में योगदान के लिए व्यापार बढ़ाने के लिए तैयार हैं. मोदी ने इसके जवाब में लिखा कि आपकी गर्मजोशी भरे संदेश के लिए धन्यवाद लाई चिंग ते. मैं घनिष्ठ संबंधों की आशा करता हूं, क्योंकि हम पारस्परिक रूप से लाभप्रद आर्थिक और तकनीकी साझेदारी की दिशा में काम करते हैं.